क्या होता है सेरेब्रल पाल्सी रोग - Kya hota hai Cerebral Palsy Rog?

यह एक न्यूरोलॉजिकल कंडीशन है जो जन्म से पहले, जन्म के दौरान या फिर जन्म के बाद दिमाग के विकासशील हिस्सों को नुकसान पहुचने से होती है। इस रोग का कोई तय ईलाज नहीं है और ये एक बहुत ही गंभीर रोग है इसलिए ये जानना बहुत ज़रूरी है कि सेरेब्रल पाल्सी रोग होने पर क्या नहीं खाना चाहिए। लेकिन इससे पहले इस रोग के बारे में कुछ ख़ास जानकारियाँ लेनी चाहिए जो नीचे दी गयी हैं।

सेरेब्रल पाल्सी रोग के कारण - Cerebral Palsy Rog ke karan

अलग-अलग स्टेज पर अलग-अलग कारणों से यह रोग हो सकता है जैसे;

जन्म से पहले या जन्म के दौरान दिमाग को नुकसान

  • प्रेगनेंसी के दौरान किसी इन्फेक्टेड या ज़हरीली चीज़ के कांटेक्ट में आने से।
  • डिलीवरी के दौरान ऑक्सीजन की कमी या गंभीर चोट से।
  • समय से पहले जन्म लेने वाले बच्चों में खतरा ज़्यादा होता है।

जन्म के बाद दिमाग को नुकसान:

  • सिर में गंभीर चोट लगना।
  • दिमाग में इन्फेक्शन।
  • कुछ दवाओं के असर से दिमाग को नुकसान।

कुछ दुसरे कारण:

  • जन्म के बाद पीलिया।
  • स्ट्रोक।

सेरेब्रल पाल्सी रोग के लक्षण - Cerebral Palsy Rog ke lakshan

सेरेब्रल पाल्सी रोग होने पर आम तौर पर ये लक्षण दिख सकते हैं -

गति और तालमेल से जुड़ी समस्याएं: मांसपेशियां कंट्रोल करने में बच्चों को दिक्कत हो सकती है जिससे चलने, बैठने और दुसरे कामों में परेशानी हो सकती है।

विकास से जुड़ी समस्या: बच्चों के विकास में देरी हो सकती है। बैठ पाने या चलने में समय लग सकता है।

असामान्य पोज़: मांसपेशियों में अकड़न या ढीलेपन की वजह से बच्चों के पोज़ असामान्य हो सकते हैं।

फैलकर चलना: बच्चे अपने पैरों को फैलाकर या चौड़ी चाल चलते हैं।

छोटी-छोटी गतिविधियों में कठिनाई: लिखना या बटन लगाने जैसे छोटे छोटे कामों में परेशानी।

सोच, नज़र और सुनने में दिक्कत: कुछ बच्चों को भाषा, चुनाव, सोच-व्यवहार, सुनने और देखने में भी दिक्कत हो सकती है।

खाने में दिक्कत: खाने या निगलने में दिक्कत हो सकती है।

ईन लक्षणों से सेरेब्रल पाल्सी रोगी की पहचान करने के बाद इस बात पर ज़रूर ध्यान देना चाहिए कि सेरेब्रल पाल्सी रोग होने पर किन चीज़ों का परहेज़ करना होगा।

सेरेब्रल पाल्सी रोग होने पर क्या नहीं खाना चाहिए - Cerebral Palsy Rog hone par kya nahi khana chahiye?

इस रोग में पूरी तरह छोड़ने जैसी कोई ख़ास चीज़ तो नहीं है लेकिन कुछ चीज़ें हैं जिनको खाने से रोगी को दिक्कत हो सकती है जैसे ;

गोल या चिपचिपा खाना: कुछ लोगों को पॉपकॉर्न, अखरोट या कैंडी निगलने में दिक्कत हो सकती है और आवाज़ की समस्या हो सकती है इसलिए ईन चीज़ों से बचना चाहिए।

कुछ सब्जियां: कच्ची गाजर या ब्रोकली निगलने में कठिनाई हो सकती है।

कुछ फल: अंगूर या छोटे फल, निगलने में कठिनाई वाले लोगों के लिए समस्याएँ पैदा कर सकते हैं।

सेरेब्रल पाल्सी रोग में खाने-पीने से जुड़े कुछ और भी ज़रूरी सवाल और जानकारियाँ नीचे दी गयी हैं।

क्या प्रोसेस्ड फूड (जैसे चिप्स, फास्ट फूड) सेरेब्रल पाल्सी में हानिकारक हैं - Kya Processed food (jaise Chips, Fast Food) Cerebral Palsy mein hanikarak hain?

हाँ, प्रोसेस्ड फूड (जैसे चिप्स, फास्ट फूड) सेरेब्रल पाल्सी में नुकसान कर सकते हैं। क्योंकि इनमें कैलोरी, नमक और फैट ज़्यादा होता है और ज़रूरी पोषक तत्वों की कमी होती है जो सेरेब्रल पाल्सी वाले लोगों के लिए हानिकारक हो सकता है।

सेरेब्रल पाल्सी वाले बच्चों को मीठा देना चाहिए या नहीं - Cerebral Palsy wale bachho ko meetha dena chahiye ya nahi?

यह रोगी की हेल्थ और ज़रूरतों पर निर्भर करता है। कुछ बच्चों को मीठा देने से कोई समस्या नहीं होती है, जबकि कुछ बच्चों में इससे दांतों की सड़न या दूसरी समस्या पैदा हो सकती है।

सेरेब्रल पाल्सी वाले बच्चों को डेयरी प्रोडक्ट्स से परहेज़ जरूरी है क्या - Cerebral Palsy wale bachho ko Dairy Products se parhez zaruri hai kya?

ज़रूरी नहीं है, लेकिन कुछ बच्चों को डेयरी प्रोडक्ट्स से एलर्जी हो सकती है या ऐसी चीज़ें सूट न होती हो। अगर बच्चे को डेयरी प्रोडक्ट्स से कोई समस्या है, तो डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए और उसके अनुसार ही इन्हें खाना चाहिए।

क्या ग्लूटेन से सेरेब्रल पाल्सी की स्थिति खराब हो सकती है - Kya gluten se Cerebral Palsy ki stithi kharab ho sakti hai?

सेरेब्रल पाल्सी वाले बच्चों में ग्लूटेन से संबंधित गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल समस्याएं, जैसे कि दस्त, पेट दर्द, और सूजन, हो सकती हैं इसलिए डॉक्टर की सलाह लेकर ही ग्लूटेन वाली चीज़ें खानी चाहिए।

आज के इस ब्लॉग में हमने आपको बताया कि सेरेब्रल पाल्सी रोग होने पर क्या नहीं खाना चाहिए। लेकिन आप सिर्फ़ ईन सुझावों पर निर्भर ना रहें। अगर आपको सेरेब्रल पाल्सी रोग है या ऐसे लक्षण दिखाई देते हैं तो डॉक्टर से संपर्क करें या कर्मा आयुर्वेद अस्पताल में भारत के बेस्ट आयुर्वेदिक डॉक्टर से अपना इलाज करवा सकते हैं। हेल्थ से जुड़े ब्लॉग्स और आर्टिकल्स के लिए जुड़े रहें कर्मा आयुर्वेद के साथ।

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